ये कैसी दौलत....
एक अमीर आदमी था उसे धन के अलावा किसी से प्रेम नहीं था| आप लोग क्या समझे? धन? मतलब रिस्ते नाते नहीं, उसे सोना, चाँदी, प्रॉपर्टी और रूपये से प्रेम था| हर पल अभिमान के नशे में चूर रहता कि मैं तो बहुत अमीर हूं इसलिये सब मेरे तलवे चाटेंगे|
वो अपना धन घर के सदस्यों से छुपाकर रखता हमेशा रखवाली करता| घर के सदस्यों से बहुत गंदा व्यवहार करता तुम सब मेरे टुकड़ों पर पलते हो जब चाहूं तब घर से निकाल फेकूं| उसकी बदसलूकी से तंग आकर एक दिन सब उसके जीवन से चले गये| वह अकेला इतराता फिरता कुछ ही दिनों में उसके पास कुछ कुत्तों ने ठिकाना बना लिया वो उन्हें रोटी के कुछ टुकड़े डाल देता और खुद को राजा समझता वो भूल गया कि अपने परिवार के साथ वफा न रखने वाले के साथ कुत्ते तक वफादारी नहीं करते|
एक दिन कुत्ते ने उसका तलवा चांटते समय उसे ऐसा काटा कि वो दोबारा कभी नहीं चल पाया|
वो विस्तर पर पड़ा था और कुछ कुत्ते हर दिन उसके कलवे चांट रहे थे क्यूं कि उन्हें पता था जो जहर वो उसके अन्दर डाल चुके हैं उससे अंत निश्चित है तो थोड़े दिन और तलवे चांटने में क्या जाता है......
आज कुछ कुत्ते उसकी मौत पर खुशी से रो रहे थे मालिक कहां चले गये हमें छोड़कर अब आपका क्रियाकर्म कौन करेगा हम तो कुत्ते हैं ना........हम तो अपना भोजन भी किसी के साथ नहीं बांटते फिर जो दौलत अपने परिवार वालों से छुपाकर आपने रखी उसे आपके क्रियाकर्म में कैसे खर्च कर सकते हैं इसी के लिये तो हमने तलवे चांटे थे.....
जो व्यक्ति रिस्तों के साथ गेम खेलता है परमात्मा उसके साथ गेम खेलता है!!!!!
धीरज रख रे बंदे,,,,
तेरे हर गुनाह को वो हरपल,
देखता है.....
ओ३म् परमात्मने नम:
मेरी कलम से...
२६/१२/२०१७
शिवकान्ति आर कमल ( तनु जी )
एक अमीर आदमी था उसे धन के अलावा किसी से प्रेम नहीं था| आप लोग क्या समझे? धन? मतलब रिस्ते नाते नहीं, उसे सोना, चाँदी, प्रॉपर्टी और रूपये से प्रेम था| हर पल अभिमान के नशे में चूर रहता कि मैं तो बहुत अमीर हूं इसलिये सब मेरे तलवे चाटेंगे|
वो अपना धन घर के सदस्यों से छुपाकर रखता हमेशा रखवाली करता| घर के सदस्यों से बहुत गंदा व्यवहार करता तुम सब मेरे टुकड़ों पर पलते हो जब चाहूं तब घर से निकाल फेकूं| उसकी बदसलूकी से तंग आकर एक दिन सब उसके जीवन से चले गये| वह अकेला इतराता फिरता कुछ ही दिनों में उसके पास कुछ कुत्तों ने ठिकाना बना लिया वो उन्हें रोटी के कुछ टुकड़े डाल देता और खुद को राजा समझता वो भूल गया कि अपने परिवार के साथ वफा न रखने वाले के साथ कुत्ते तक वफादारी नहीं करते|
एक दिन कुत्ते ने उसका तलवा चांटते समय उसे ऐसा काटा कि वो दोबारा कभी नहीं चल पाया|
वो विस्तर पर पड़ा था और कुछ कुत्ते हर दिन उसके कलवे चांट रहे थे क्यूं कि उन्हें पता था जो जहर वो उसके अन्दर डाल चुके हैं उससे अंत निश्चित है तो थोड़े दिन और तलवे चांटने में क्या जाता है......
आज कुछ कुत्ते उसकी मौत पर खुशी से रो रहे थे मालिक कहां चले गये हमें छोड़कर अब आपका क्रियाकर्म कौन करेगा हम तो कुत्ते हैं ना........हम तो अपना भोजन भी किसी के साथ नहीं बांटते फिर जो दौलत अपने परिवार वालों से छुपाकर आपने रखी उसे आपके क्रियाकर्म में कैसे खर्च कर सकते हैं इसी के लिये तो हमने तलवे चांटे थे.....
जो व्यक्ति रिस्तों के साथ गेम खेलता है परमात्मा उसके साथ गेम खेलता है!!!!!
धीरज रख रे बंदे,,,,
तेरे हर गुनाह को वो हरपल,
देखता है.....
ओ३म् परमात्मने नम:
मेरी कलम से...
२६/१२/२०१७
शिवकान्ति आर कमल ( तनु जी )
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